“90 के दशक की अनमोल यादें!”

अगर आप 90 के दशक के बच्चे हैं, तो यह लेख आपको आपके सुनहरे बचपन की याद दिलाएगा। कैसेट, कार्टून, दोस्त

और वो स्कूल के दिन – चलिए, एक बार फिर से जीते हैं वे खूबसूरत पल!

90 के दशक का जादू: वो दिन, जब बचपन सच्चा था!

अगर आप 90 के दशक में पले-बढ़े हैं, तो आपको याद होगा कि वह दौर कितना अलग था।

इसी तरह ,न इंटरनेट की लत, न स्मार्टफोन की दुनिया। बस, एक सरल और मज़ेदार बचपन, जिसमें असली दोस्त,

गर्मी की छुट्टियां, मोहल्ले के खेल और दूरदर्शन के कार्टून थे।

आज हम उन यादों को ताज़ा करने वाले हैं, जो सिर्फ 90 के दशक के भारतीय बच्चों की ज़िंदगी का हिस्सा थीं।


1️⃣ स्कूल की यादें: जब हर चीज़ का एक अलग मज़ा था!

📚 नोटबुक के पीछे WWE स्टिकर्स – हम सभी ने अपनी नोटबुक को WWE, Pokémon,

साथ ही” ,या कार्टून के स्टिकर्स से सजाया था। वो स्टिकर्स इकट्ठे करना किसी खजाने से कम नहीं लगता था!

90s Indian school notebook with WWE stickers and doodles."

🖊️ रबर, पेंसिल और पेंसिल बॉक्स का जादू

याद है वो दिन जब महंगी सुगंधित रबर या एक खास डिज़ाइन वाली पेंसिल बॉक्स हमारी शान हुआ करती थी?

“बेशक”, अगर आपके पास मल्टी-स्टोरी पेंसिल बॉक्स था, तो समझिए आप क्लास के स्टार थे!

"Colorful 90s pencil box with scented erasers and pencils."

👬 फ्रेंडशिप बैंड और बेस्ट फ्रेंड का टाइटल – हर किसी का स्कूल में एक बेस्ट फ्रेंड हुआ करता था, और फ्रेंडशिप डे पर उसे रंग-बिरंगा फ्रेंडशिप बैंड बांधना गर्व की बात होती थी।

"School friends exchanging colorful friendship bands on Friendship Day."

🚦 पिटीशन पास करो! – हाँ, क्लास में जब किसी सर या मैम का पीरियड कैंसिल करवाना होता था, तो एक हस्ताक्षर याचिका (petition) बनती थी।

"Students secretly passing a petition in classroom mischievously."

📖 अमर चित्र कथा और चंपक – उस समय की सबसे मशहूर कहानियों की किताबें, जिन्हें पढ़ना सबसे बड़ी खुशी होती थी।


2️⃣ टीवी और कार्टून का सुनहरा दौर

📺 दूरदर्शन की वो रविवार की फिल्में! – एक समय था जब हर रविवार दोपहर 12 बजे हम दूरदर्शन पर आने वाली हिंदी फिल्म का इंतज़ार करते थे।

“याद रहे कि” , घरवालों के साथ बैठकर ‘मुगल-ए-आज़म’ या ‘शोले’ जैसी फिल्में देखने का मज़ा ही अलग था।

Family watching Bollywood movie on Doordarshan Sunday afternoon."

🎬 शक्तिमान का जादू! – हर शनिवार को शक्तिमान देखने के लिए पूरा परिवार तैयार रहता था।

और हम सबने यह ज़रूर ट्राई किया होगा – एक जगह खड़े होकर घूमकर शक्तिमान बनने की कोशिश!

"Child dressed as Shaktimaan striking superhero pose outside."

🐭 कार्टून का स्वर्ण युग – अगर आपको Tom & Jerry, Popeye, Dexter’s Laboratory, Duck Tales, या Jungle Book याद है, तो आप सच्चे 90’s किड हैं।

"Kids watching classic cartoons on CRT television together."

📼 वीडियो कैसेट और विडियो पार्लर – जब किसी के घर VCR या VCD प्लेयर होता था, तो पूरी गली के बच्चे वहां फिल्म देखने पहुंच जाते थे।

"Stacked Bollywood VHS tapes beside an old video player."

🎵 नागिन धुन पर डांस“इसके अलावा”, अगर शादी या किसी फंक्शन में ‘नागिन धुन’ बज जाए, तो हर बच्चा नागिन डांस करना शुरू कर देता था!

"Kids dancing excitedly to Naagin tune at wedding."

3️⃣ बाहर खेलना, असली दोस्ती का मज़ा

गली क्रिकेट और चुपा-चुपी – गली-मोहल्लों में क्रिकेट खेलने का मज़ा कुछ और ही था।

अगर बैट किसी के घर की छत पर चला जाता, तो पूरी गेम रुक जाती थी।

Children playing gully cricket with bricks as wickets."

🎭 डोली या राजा-रानी खेलना – लड़कियां डोली खेलतीं और लड़के राजा-रानी के खेल। “इसके अलावा”, यह हमारी छोटी-छोटी खुशियों का हिस्सा था।

"Kids playing Raja-Rani wearing handmade crowns joyfully."

🎠 झूले और कागज़ की नावें – बारिश में कागज़ की नाव बनाकर पानी में छोड़ने की खुशी सिर्फ 90’s किड्स समझ सकते हैं।

"Children enjoying a rope swing tied to big tree."

🌿 आम के बाग और इमली चुराना – गर्मियों में आम के बाग में जाकर आम तोड़ना और चटखारे लेकर इमली खाना, बस मज़ा ही आ जाता था!

"Children climbing tree to pluck fresh ripe mangoes."

4️⃣ टेक्नोलॉजी से दूर, असली मस्ती के दिन

📞 लैंडलाइन फोन और PCO की कॉल्स“बेशक” , मोबाइल फोन नहीं थे, तो दोस्ती निभाने के लिए लैंडलाइन पर लंबी बातें होती थीं। PCO से कॉल करके बात करने का भी अलग ही मज़ा था।

"Child excitedly talking on landline rotary phone home."

📻 वॉकमैन और कैसेट्स – अगर आपके पास वॉकमैन था, तो आप गली के सबसे कूल इंसान थे! गाने सुनने के लिए कैसेट्स को पेंसिल से घुमाना याद है?

"Yellow Sony Walkman with cassette tapes and headphones."

🕹️ वीडियो गेम पार्लर और मारियो – 8-bit गेमिंग का दौर, जब मारियो, डक हंट, रोड रैश और कॉन्ट्रा सबसे बड़े गेम हुआ करते थे।

अगर आपके पास Brick Game वाला 9999 गेम्स वाला हैंडहेल्ड डिवाइस था, तो आप VIP थे!

Boys playing Mario on arcade machine happily together.

5️⃣ त्योहार और खास मौके

🎇 दीवाली पर पटाखों की मस्ती – लक्ष्मी बम, अनार, और चकरी जलाने की खुशी कुछ अलग थी।

तब पटाखों से ज्यादा, दोस्तों के साथ उनका मज़ा उठाने का क्रेज़ था।

"Kids lighting sparklers and bursting crackers during Diwali."

🎁 गुब्बारे वाली होली – पिचकारी भरकर पूरे मोहल्ले को रंग देने का जुनून अलग ही था।

🍬 दिवाली और जन्माष्टमी पर मिठाइयों की चोरी – बड़े-बुजुर्गों की नजरें बचाकर गुलाब जामुन या लड्डू खाना किसी मिशन से कम नहीं था!

📖 नए साल पर ग्रीटिंग कार्ड्स भेजना – जब व्हाट्सएप नहीं था, तब हम दोस्तों और रिश्तेदारों को खूबसूरत ग्रीटिंग कार्ड्स भेजते थे।


निष्कर्ष: 90 का दशक अनमोल था!

आज, जब हम स्मार्टफोन और इंटरनेट में खो गए हैं, तब भी 90 के दशक की यादें हमारे दिलों में बसी हुई हैं।

वह दौर जब दोस्ती सच्ची थी, जब खुशियां छोटी-छोटी चीज़ों में छिपी थीं। अगर आपको भी ये यादें ताज़ा लगीं,

तो कमेंट में ज़रूर बताएं – आपकी सबसे पसंदीदा 90’s मेमोरी क्या है? 💖

“पुराने जमाने के लोकप्रिय खेल”

1️⃣ 90 के दशक के बच्चे कौन-कौन से खेल खेलते थे?

📝 90s के बच्चे गली क्रिकेट, लुका-छिपी, राजा-रानी, सांप-सीढ़ी, और कंचे खेलना पसंद करते थे।

2️⃣ 90 के दशक में सबसे लोकप्रिय टीवी शो कौन-कौन से थे?

📝 Shaktimaan, Dekh Bhai Dekh, Hum Paanch, Chandrakanta, और Malgudi Days सबसे लोकप्रिय थे।

3️⃣ 90 के दशक के सबसे मशहूर त्योहार कौन-कौन से थे?

📝 दिवाली पर पटाखे, होली में रंग और गुब्बारे, जन्माष्टमी पर दही हांडी, और दशहरा में रावण दहन सबसे खास थे।

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